"हाँ , बाकी इतिहास ! परीक्षा नहीं . कनक नहीं. नौकरी नहीं . वासंती नहीं . बाकी इतिहास ! दंगों का इतिहास ! महायुद्धों का इतिहास ! असंख्य वर्षों की ह्त्या ,जुल्म , अत्याचार का इतिहास ! कौरव , पांडव ,सिकंदर , चंगेज खान , नेपोलियन , हिटलर का इतिहास ! हज़ारों वर्षों का इतिहास पिरामिडों के पत्थरों में , कोलिसियम की बालू में , जलियांवाला बाग की दीवारों पर , हिरोशिमा की झुलसी मिट्टी में लिखा पड़ा है ... हज़ारों वर्षों का बाकी इतिहास " ( बादल सरकार , १९२५-२०११ )
यह अंश भाई हिमांशु पांड्या की फेसबुक वाल से साभार
यह कैसी खबर है ?
जवाब देंहटाएंओह!!!
अलविदा !!!